BJP नेता की नमाज-ए-जनाजा पढ़ाने से किया इनकार, इमाम ने बताया ‘गुस्ताखे रसूल’
उत्तर प्रदेश के मुरादाबाद से एक हैरान करने वाला मामला सामने आया है. जिले के कुन्दरकी नगर निवासी एक युवक ने मस्जिद के इमाम और कमेटी के लोगो पर उसके पिता की मौत के बाद जनाजे की नमाज न पढ़ाने का आरोप लगाया है. युवक का आरोप है कि उसके पिता भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ता थे. मस्जिद के लोगों ने बीजेपी कार्यकर्ता होने की वजह से उनके जनाजे की नमाज नहीं पढ़ाई.
इस मामले में मस्जिद के इमाम ने मृतक को गुस्ताखे रसूल बताते हुए मामला धार्मिक बताया है. मस्जिद के इमाम का कहना है कि मृतक आए दिन पैगंबरे इस्लाम की शान में गुस्ताखी किया करते थे, इसलिए उनकी जनाजे की नमाज नहीं पढ़ाई गई. मामला जिले के डीएम तक पहुंचा है. उन्होंने इसके लिए एक कमेटी गठित कर जांच के आदेश दिए हैं.
मृतक के बेटे ने लगाया इमाम पर आरोप
जिले के कुन्दरकी नगर के मोहल्ला कायस्थान के रहने वाले दिलनवाज के पिता अलीदाद खान भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ता थे. वह पार्टी की बैठकों में शामिल हुआ करते थे. बीते सप्ताह उनकी हार्ट अटैक से मौत हो गई. दिलनवाज का आरोप है कि जब उनके पिता का जनाजा मस्जिद में ले जाया गया तो इमाम और कमेटी के लोगों ने उनके जनाजे की नमाज पढ़ाने से मना कर दिया. परिवार वालों ने उनसे नमाज पढ़ाने के लिए काफी मिन्नत की, लेकिन नमाजे जनाजा नहीं पढ़ाई गई. किसी तरह से दिलनवाज ने अपने रिश्तेदारी के जरिए दूसरे इमाम को बुलाया और नमाज पढ़वाई गई.
इमाम ने बताया ‘गुस्ताखे रसूल’
इस पूरे प्रकरण में मस्जिद के इमाम मौलाना राशिद का कहना है कि मस्जिद में नमाज़ पढ़ाई गई है. नमाज़ पढ़ाने का सबसे पहला अधिकार परिवार के इंसान को होता है. हमने इनके जनाजे की नमाज़ नही पड़ी है क्योंकि यह पैगंबर-ए-इस्लाम की शान में गुस्ताखी करते थे. इसमें राजनीति से संबंधित कोई मामला नहीं है, यह धार्मिक मामला है. उनका कहना है कि इस मामले को राजनीति से जोड़कर तूल दिया जा रहा है. जिलाधिकारी अनुज सिंह का कहना है कि एक प्रार्थना पत्र प्राप्त हुआ है. इस पूरे मामले में टीम गठित कर दी गई है. सत्यता की जांच कराई जा रही है. जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी.
Comments are closed, but trackbacks and pingbacks are open.