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हरियाणा: दादा और पिता के बाद अब पोता…जिस कैथल से हारे थे रणदीप सुरजेवाला, अब वहां बेटे आदित्य को टिकट

हरियाणा की कैथल विधानसभा सीट से सुरजेवाला परिवार की तीसरी पीढ़ी चुनाव लड़ने जा रही है. कांग्रेस के सांसद रणदीप सुरजेवाला के बेटे आदित्य सुरजेवाला को पार्टी ने यहां से विधानसभा का टिकट दिया है. यह वही सीट है जहां से रणदीप सुरजेवाला और उनके पिता शमेशर सिंह सुरजेवाला विधायक रह चुके हैं. रणदीप सुरजेवाला ने 2009 और 2014 के चुनाव में कैथल सीट पर जीत हासिल की थी. उससे पहले 2005 के चुनाव उनके पिता शमशेर ने बाजी मारी थी.

कैथल विधानसभा सीट पर सुरजेवाला परिवार का प्रभाव रहा है. 2005, 2009 और 2014 के चुनाव में उसे जीत मिल चुकी है. 2005 में जहां शमशेर सिंह सुरजेवाला ने जीत दर्ज की थी तो 2009 और 2014 के चुनाव में रणदीप सिंह सुरजेवाला ने बाजी मारी थी. 2019 में बीजेपी ने यहां पर सेंध लगाई और जीत दर्ज की.

शमशेर सिंह सुरजेवाला को जानिए

शमशेर सिंह सुरजेवाला हरियाणा विधानसभा के सदस्य होने के अलावा राज्यसभा के सांसद भी रह चुके हैं. वह हरियाणा कांग्रेस के अध्यक्ष भी रहे हैं. शमशेर सुरजेवाला 1967, 1977, 1982 और 1991 में नरवाना से चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे थे. 1992 में वह राज्यसभा के सदस्य बने. 2005 के चुनाव में पार्टी ने उन्हें कैथल से चुनाव लड़ाया.

शमशेर कांग्रेस की उम्मीदों पर खरा उतरते हुए जीत हासिल किए. वह हरियाणा सरकार में मंत्री भी रह चुके हैं. शमेशर हरियाणा विधानसभा में विपक्ष के नेता भी रहे हैं. शमशेर को किसानों के लिए काम करने के लिए जाना जाता रहा है. वह हरियाणा कृषक समाज और ऑल इंडिया किसान कांग्रेस के अध्यक्ष रह चुके हैं. 20 जनवरी, 2020 को दिल्ली एम्स में उनका निधन हो गया था.

कैथल में हार चुके हैं रणदीप सुरजेवाला

जिस कैथल ने सुरजेवाला परिवार को जश्न मनाने के कई मौका दिए, उसी कैथल से 2019 के चुनाव में रणदीव सुरजेवाला हार गए थे. रणदीव को बीजेपी के लीला राम के हाथों शिकस्त मिली थी. लीला राम को महज 1246 वोटों से जीत मिली थी. इससे पहले 2014 के चुनाव में रणदीव सुरजेवाला ने जीत हासिल की थी. उन्होंने INLD के कैलाश भगत को हराया था. बीजेपी तीसरे नंबर पर रही थी. रणदीप सुरजेवाला को उस चुनाव में 65 हजार 524 वोट मिल थे. जीत का अंतर 13 हजार से ज्यादा वोटों का था.

2014 के पहले 2009 के चुनाव में भी रणदीव सुरजेवाला ने जीत दर्ज की थी. इस सीट पर वह पहली बार लड़े थे. उन्होंने INLD के कैलाश भगत को हराया था. रणदीप सुरजेवाला को 59 हजार 889 वोट मिले थे. जीत का अंतर 20 हजार से ज्यादा वोटों का था.

आदित्य सुरजेवाला को मिला टिकट

कैथल में सुरजेवाला परिवार सफल रहा है. हालांकि 2019 के चुनाव में बीजेपी ने सेंध लगाई थी. कांग्रेस ने इस सीट पर जीत हासिल करने लिए सुरजेवाला परिवार की तीसरी पीढ़ी पर दांव खेला है. रणदीप सुरजेवाला राज्यसभा के सांसद हैं, ऐसे में उनके बेटे आदित्य सुरजेवाला को टिकट मिला है.

कैथल में कितने मतदाता

चुनाव आयोग के आंकड़ों के अनुसार 2019 के विधानसभा चुनाव के दौरान कैथल निर्वाचन क्षेत्र में 203287 मतदाता थे. इनमें से 108325 पुरुष और 94962 महिला मतदाता थे. निर्वाचन क्षेत्र में कुल 1143 पोस्टल वोट डाले गए. 2014 में निर्वाचन क्षेत्र में मतदाताओं की कुल संख्या 181246 थी. इनमें से 97262 पुरुष और 83984 महिला मतदाता थे. निर्वाचन क्षेत्र में पोस्टल वोट थे और नोटा के लिए डाले गए वोट (पोस्टल वोट सहित) 708 थे.

कैथल में कब किसे मिली जीत

  • 1967- कांग्रेस के ओम प्रभा
  • 1968- कांग्रेस के ओम प्रभा
  • 1972- निर्दलीय चरण दास
  • 1977- जनता पार्टी को रघुनाथ
  • 1982- निर्दलीय रोशन लाल
  • 1987- लोकदल के सुरेंद्र कुमार
  • 1991- कांग्रेस के सुरेंद्र कुमार
  • 1996- समता पार्टी के चरण दास
  • 2000- INLD के लीला राम
  • 2005- कांग्रेस के शमशेर सिंह सुरजेवाला
  • 2009- कांग्रेस के रणदीप सिंह सुरजेवाला
  • 2014- कांग्रेस के रणदीप सिंह सुरजेवाला
  • 2019- बीजेपी के लीला राम

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