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महाराष्ट्र-झारखंड में 2019 की तुलना में तीन गुना अधिक जब्ती, 558 करोड़ हुए जब्त

झारखंड और महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव की तैयारी जोरों से चल रही है. इसके साथ ही चुनाव आयोग की एजेंसियां कड़ी निगरानी भी रख रही हैं. इस चुनाव में चुनाव आयोग की एजेंसी ने 2019 की तुलना में तीन गुना अधिक की जब्ती की है. चुनाव आयोग की एजेंसियों ने महाराष्ट्र में 280 करोड़ रुपये और झारखंड में 158 करोड़ रुपये जब्त किए हैं. एजेंसियों द्वारा 558 करोड़ रुपये की नकदी के साथ शराब, ड्रग्स और कीमती धातुएं भी जब्त की गई है.

दोनों चुनावी राज्यों में संयुक्त जब्ती साल 2019 के विधानसभा चुनाव की तुलना में 3.5 गुना अधिक है. साल 2019 में महाराष्ट्र में 103.61 करोड़ रुपये और झारखंड में यह 18.76 करोड़ रुपये जब्त किये गये थे.

मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने चुनाव में किसी भी तरह के प्रलोभन को लेकर अगाह किया है और चुनाव आयोग ने अधिकारियों को इस मामले में ‘जीरो टॉलरेंस’ का पालन करने का आदेश दिया है.

चुनाव आयोग ने ड्रग्स, मुफ्त सामान, अवैध शराब, नकदी और आवाजाही पर रोक लगाने के लिए विभिन्न एजेंसियों की संयुक्त टीम का गठन किया गया है.

मुख्य चुनाव आयोग ने की थी अहम बैठक

हाल ही में मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने महाराष्ट्र और झारखंड सहित उनके पड़ोसी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के आला अधिकारियों के साथ बैठक की थी. इस बैठक में सबंद्ध राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के मुख्य सचिव, आबकारी आयुक्तों, पुलिस महानिदेशक और प्रवर्तन एजेंसियों के अधिकारी उपस्थित थे. मुख्य चुनाव आयुक्त ने अंतर-राज्यीय सीमाओं पर आवाजाही पर कड़ी निगरानी रखने का निर्देश दिया था.

उन्होंने एजेंसियों को रोकथाम के लिए जब्ती के पिछड़े लिंकेज स्थापित करने का निर्देश दिया. झारखंड के गढ़वा जिले में जब्त की गई शराब और अकोला जिला पुलिस की अपराध शाखा द्वारा 1.32 करोड़ रुपये की नशीली दवा इफेड्रिन जब्त की गई.

SUVIDHA ऐप ने की इस तरह मदद

ईसीआई की चुनाव जब्ती प्रबंधन प्रणाली (ईएसएमएस) के साथ जब्ती की वास्तविक समय रिपोर्टिंग ने आयोग और एजेंसियों द्वारा व्यय निगरानी पर नियमित और सटीक समीक्षा की है. दोनों राज्यों, महाराष्ट्र-91 और झारखंड-19, के 110 विधानसभा क्षेत्रों में भी कड़ी निगरानी रखी जा रही है, जिन्हें अधिक केंद्रित निगरानी के लिए व्यय संवेदनशील निर्वाचन क्षेत्रों के रूप में चिह्नित किया गया है.

मतदाताओं को लुभाने के लिए प्रलोभनों के खिलाफ सख्त रुख अपनाते हुए चुनाव आयोग ने यह सुनिश्चित किया है कि राजनीतिक दलों के वैध अनुरोधों का पारदर्शी तरीके से जवाब दिया जाए ताकि समान अवसर मिल सके. इस संबंध में, SUVIDHA ऐप ने राजनीतिक दलों और उम्मीदवारों की काफी मदद की है. महाराष्ट्र से 8546 और झारखंड से 6317 सहित 18,045 अभियान संबंधी अनुरोधों को मंजूरी दी गई.

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