राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस के मामलों में तेजी से वृद्धि के बीच, दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (DDMA) मंगलवार को होने वाली अपनी बैठक में अधिक प्रतिबंधों पर विचार कर सकता है ताकि संक्रमण के प्रसार पर काबू पाया जा सके। बता दें कि दिल्ली में अभी ‘येलो अलर्ट’ है अगर यहां पर ‘रेड अलर्ट’ हुआ तो सख्त पाबंदियां लग सकती हैं।
दिल्ली में हो सकता है ‘रेड अलर्ट’
DDMA ने 29 दिसंबर को अपनी पिछली बैठक में तय किया था कि दिल्ली में ‘येलो अलर्ट’ के तहत लगाए गए प्रतिबंध जारी रहेंगे क्योंकि अस्पताल में भर्ती होने वाले मरीजों की संख्या कम थी। श्रेणीबद्ध प्रतिक्रिया कार्रवाई योजना के तहत दिल्ली ‘लेवल 4′ (रेड अलर्ट) प्रतिबंधों के दौर में पहुंच गई है, जिसमें अधिकांश गतिविधियों पर रोक और पूर्ण कर्फ्यू लगाया जाता है। लगातार दो दिनों तक संक्रमण दर पांच प्रतिशत से अधिक होने के बाद ‘रेड अलर्ट’ लागू किया जाता है।
एक आधिकारिक सूत्र ने बताया कि मंगलवार की बैठक में विचार किया जाएगा कि क्या ओमिक्रॉन के प्रसार पर काबू के लिए कुछ और करने की आवश्यकता है। दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने सोमवार को विधानसभा में कहा कि शहर में हालांकि दैनिक मामले बढ़ रहे हैं, लेकिन स्थिति नियंत्रण में है क्योंकि ज्यादातर लोगों में गंभीर लक्षण नहीं दिख रहे या उन्हें अस्पताल में भर्ती कराने की जरूरत नहीं पड़ रही है। उन्होंने कहा कि ओमिक्रॉन से संक्रमित किसी भी मरीज को दिल्ली के अस्पतालों में अब तक ऑक्सीजन की जरूरत नहीं पड़ी है।
वर्चुअली होगी बैठक
बैठक उपराज्पाल अनिल बैजल की अध्यक्षता में वर्चुअल माध्यम से होगी। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को भी बैठक में शामिल होना है। उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया, स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन, राजस्व मंत्री कैलाश गहलोत भी मौजूद रहेंगे, हालांकि अरविंद केजरीवाल बैठक से पहले कोरोना पॉजिटिव हो गए हैं और उन्होंने खुद को घर में आइसोलेट कर लिया है। वो इस बैठक में भाग लेंगे या नहीं अभी इसकी कोई जानकारी नहीं है। वहीं केजरीवाल ने उनके संपर्क में आने वाले लोगों से अपील की है कि वे सतर्क रहें और खुद का टेस्ट जरूर करवाएं।
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