पिछले 10 सालों में नेता का हाथ पकड़ जिताया, अब बिहार की जनता का हाथ है पकड़ना : प्रशांत किशोर
सिवान। जन सुराज पदयात्रा के 149वें दिन की शुरुआत सिवान के गोपीपतियांव पंचायत स्थित सैदपुरा हाई स्कूल में सर्वधर्म प्रार्थना से हुई। इसके बाद प्रशांत किशोर सैकड़ों पदयात्रियों के साथ गोपीपतियांव पंचायत से पदयात्रा के लिए निकले। आज जन सुराज पदयात्रा सिसवा कलां होते हुए हसनपुरा प्रखंड अंतर्गत हसनपुरा नगर पंचायत के अरंडा मैदान में जन सुराज पदयात्रा शिविर में रात्रि विश्राम के लिए पहुंची। प्रशांत किशोर की पदयात्रा का सिवान में आज 22वां दिन है। वे जिले में 05 से 10 दिन और रुकेंगे और इस दौरान वे अलग-अलग गांवों और प्रखंडों में पदयात्रा के माध्यम से जनता के बीच जाएंगे। उनकी समस्याओं को समझ कर उसका संकलन कर उसके समाधान के लिए ब्लू प्रिंट तैयार करेंगे। दिनभर की पदयात्रा के दौरान प्रशांत किशोर 3 आमसभाओं को संबोधित करेंगे और 3 पंचायत के 13 गांवों से गुजरते हुए 14.3 किमी की पदयात्रा तय की। वहीं जन सुराज पदयात्रा के दौरान सिवान के रघुनाथपुर प्रखंड में एक जनसभा को संबोधित करते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि लोकतंत्र में जनबल के आगे कोई बल नहीं है। एक बार अगर आप यह संकल्प ले लें कि आप जाति-धर्म, 5 किलो अनाज, नाली-गली पर वोट ना दे कर अपने बच्चों की शिक्षा और रोजगार के लिए वोट करें तो आपके सामने कोई दल या समीकरण टिकने वाला नहीं है। आगे उन्होंने कहा कि अगर आप लोग मुझे जानते हैं तो ये जरूर जानते होंगे की मुझे कुछ आता हो या ना आता हो, चुनाव लड़ाना जरूर आता है। पिछले 10 सालों में मैंने जिस भी नेता का हाथ पकड़ा है, वो चुनाव नहीं हारा है। इस बार मैंने यह संकल्प लिया है कि किसी भी नेता या दल का नहीं बल्कि बिहार की जनता का हाथ थामना है। जिसे भी समाज अपने बीच से चुनकर निकालेगा, चाहे वो गरीब हो, अमीर हो या किसी भी जाति, समुदाय का हो, उसी के पीछे जन सुराज अपनी बुद्धि, शक्ति, पैसा और ताकत लगाएगी और सभी के समर्थन और आशीर्वाद से उसे जीता कर लाएगी। तभी जनता की सरकार बन सकती है। वहीं जन सुराज पदयात्रा के दौरान सिवान में एक आमसभा को संबोधित करते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि अगर जनता की सरकार बनी तो उसका पहला लक्ष्य यह होगा की जीतने भी लड़के बाहर मजदूरी करने गए हैं, या पढ़-लिखकर यहां बेरोजगार बैठे हैं, सभी लड़कों को उनके पंचायत और उनके राज्य में ही 10 से 15 हजार का रोजगार दिया जाएगा। आगे प्रशांत किशोर ने जनता से पूछते हुए कहा कि उन्हें 5 किलो अनाज और रोजगार में से चुनना होगा की उन्हें क्या चाहिए। अगर उन्हे शिक्षा और रोजगार चाहिए तो उन्हें यह संकल्प लेना होगा कि अगली बार वोट इन्हीं मुद्दों पर पड़नी चाहिए। अगर ये दो मुद्दे रहे तो ज़िंदगी सुधर जाएगी। नाली-गली तो बनती रहेगी और अगर रोजगार रहा तो जनता अनाज खुद खरीद लेगी। यह प्रयास सभी को साथ में मिलकर करना होगा।