जल संसाधन मंत्री ने चंडी प्रखंड में मुहाने नदी को चिरैया नदी से जोड़ने की योजना के तहत निर्मित बराज का किया स्थल निरीक्षण
बिहार शरीफ । कहा, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के निर्देश पर प्रदेश के अंदर की छोटी-छोटी नदियों को आपस में जोड़ कर क्षेत्र में सिंचाई सुविधा के साथ-साथ बाढ़ से सुरक्षा प्रदान करने के लिए जल संसाधन विभाग तत्परता से कार्य कर रहा है
जल संसाधन तथा सूचना एवं जनसंपर्क मंत्री श्री संजय कुमार झा ने बुधवार को नालंदा जिले के चंडी प्रखंड अंतर्गत दयालपुर के पास मुहाने नदी को चिरैया नदी से जोड़ने की योजना के तहत निर्मित बराज का स्थल निरीक्षण किया। बराज का निर्माण लगभग पूर्ण हो गया है। जल संसाधन मंत्री ने इसे एक सप्ताह के अंदर लोकार्पण के लिए पूरी तरह तैयार कर लेने सहित कई निर्देश दिये।
इस मौके पर पत्रकारों से बात करते हुए श्री संजय कुमार झा ने कहा कि इंट्रालिंकिंग ऑफ रीवर्स का कॉन्सेप्ट बिहार ने ही दिया है। माननीय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के निर्देश पर प्रदेश के अंदर की छोटी-छोटी नदियों को आपस में जोड़ कर क्षेत्र में सिंचाई सुविधा के साथ-साथ बाढ़ से सुरक्षा प्रदान करने के लिए जल संसाधन विभाग तत्परता से कार्य कर रहा है। इंट्रालिंकिंग ऑफ रीवर्स की परिकल्पना के तहत ही विभाग ने चंडी प्रखंड में मुहाने नदी और चिरैया नदी को लिंक चैनल के माध्यम से आपस में जोड़ कर एक-दूसरे के पानी को आवश्यकतानुसार दोनों नदियों में प्रवाहित करने की योजना तैयार की, जो अब लगभग पूरा हो गया है। इस कार्य से चंडी प्रखंड में करीब दो हजार हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई सुविधा पुनर्स्थापित हो सकेगी।
उल्लेखनीय है कि चंडी प्रखंड में मुहाने नदी पर पूर्व से एक बराज निर्मित है। मुहाने नदी से करीब 1.5 किलोमीटर की दूरी पर चिरैया नदी बहती है, जिस पर पूर्व से एक चेक डैम निर्मित है, जो जीर्ण-शीर्ण अवस्था में था। जल संसाधन विभाग ने इस चेक डैम के स्थान पर नये बराज का निर्माण कराया है, जो लगभग पूर्ण हो गया है। इसके साथ-साथ मुहाने और चिरैया नदी को जोड़ने के लिए लिंक चैनल का पुनर्स्थापन और लाइनिंग का कार्य भी कराया गया है। पईन पर आउटलेट, एकपथीय सेतु आदि का भी निर्माण कराया गया है।
स्थल निरीक्षण के दौरान मौजूद पूर्व मंत्री श्री हरिनारायण सिंह ने बताया कि मुहाने और चिरैया नदी को जोड़ने से जहां लिंक चैनल के माध्यम से क्षेत्र के किसानों को सिंचाई सुविधा मिलेगी, वहीं दोनों नदियों में पानी की आवश्यकतानुसार उपलब्धता सुनिश्चित की जा सकेगी।
इस अवसर पर जल संसाधन विभाग के कई वरीय अधिकारी एवं अभियंता मौजूद थे।