पुलिस, राजस्व टीम के सामने डेढ़ दर्जन लोगों ने किया हमला
नर्मदापुरम: नर्मदापुरम में कुलामढ़ी रोड पर जमीन सीमांकन के दौरान कॉलोनाइर और मजदूरों पर डेढ़ दर्जन लोगों ने हमला किया। राजस्व अधिकारी, पुलिस की मौजदूगी में दूसरे गुट द्वारा हमला किया व झूमाझटकी की। घटना का लाइव सीसीटीवी वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है। जिसमें एक पक्ष के लोगों से दूसरे पक्ष के लोग झूमाझटकी कर रहे। वर्दी पहने जवान दोनों पक्ष को रोकने का प्रयास कर रहे। पुलिस ने बमुश्किल दोनेां पक्षों क शांत कराकर विवाद को ठंडा किया। सीसीटीवी वीडियो वायरल होने के बाद दोनों ही पक्षों के द्वारा देहात थाने में लिखित शिकायत की है। अभी तक पुलिस ने कोई केस दर्ज नहीं किया है।घटना को लेकर कॉलोनाइजर राजेंद्र पचौरी ने गोविंद राय पर आरोप लगाया है वे उनकी जमीन पर जबरन कब्जा कर रहे। कॉलोनाइजर राजू पचौरी और गोविंद राय का कुलामड़ी रोड पर एक जमीन को लेकर पुराना विवाद है। यह जमीन नहर विभाग की है, मगर दोनों ही पक्ष उक्त जमीन के दस्तावेज अपने नाम के होने का दावा कर रहे हैं। कॉलोनाइजर राजू पचौरी के अनुसार जमीन के कागज सहित अन्य जरूरी दस्तावेज उनके पास है। पचौरी ने कहा कि उन्होंने वरिष्ठ अधिकारियों को शिकायत की थी। जांच में उक्त जमीन पर कथित तौर पर अतिक्रमण पाया गया था। जांच प्रतिवेदन के आधार पर नायब तहसीलदार रामकिशोर झरबड़े राजस्व टीम और पुलिस जवान को लेकर मंगलवार को जमीन का सीमांकन करने पहुंचे थे। जमीन पर खड़े डंपर को हटाकर मंडी में खड़े कराया था। जमीन पर मजदूर काम रहे थे। तभी 1 डंपर और 4 गाड़ियों से भराकर करीब डेढ़ दर्जन लोग आएं। गाड़ी से उतरे ही सभी दौड़ते काम कर रहे मजदूरों की तरफ दौड़े। सीसीटीवी फुटेज में एक व्यक्ति के हाथ में लोहे की कुछ चीज भी नजर आ रही है। एक दो व्यक्ति को जमीन पर गिराकर पीटते दिख रहे है। देहात पुलिस द्वारा मामला शांत कराया गया।कॉलोनाइजर राजू पचोरी ने कहा कि हम तो जमीन का सीमांकन कराने गए थे। उस वक्त हम पर हमला किया। अगर पुलिस नहीं होती तो वे सभी को जान से मार देते। राजू पचौरी ने थाने में शिकायत कर खुद पर दोबारा हमला होने की आशंका जताई है। इस मामले में गोविंद राय ने कहा कि कि उक्त जमीन हमारे नाम की है। 1994 में हमने जमीन की रजिस्ट्री कराई थी। जमीन पर हमारा बोर्ड भी लगा हुआ था। चकबंदी के दौरान दोबारा जमीन नाम हो गई। प्रशासन ने क्यों और किस नियम के तहत आदेश दिए। हमें नहीं पता। हम केवल वहां पर अपनी बात रखने प्रशासनिक टीम के पास गए थे, हमने कोई हमला नहीं किया। आरोप सरासर झूठे हैं। हमारे पास जो दस्तावेज हैं उन्हें देखकर सच का पता खुद चल जाएगा।इनका कहना हैजमीन पर सीमांकन के दौर दो गुटों में विवाद हो गया था। मामले को शांत करा दिया था। इस मामले पीड़ित पक्ष की शिकायत आई है। जांच के बाद ही आगे की कार्रवाई की जाएगी।– संजय चौकसे, थाना प्रभारी, देहात थाना नर्मदापुरम।
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