ब्रेकिंग
जहानाबाद दोहरे हत्याकांड में सात आरोपियों को सश्रम आजीवन कारावास डोनियर ग्रुप ने लॉन्च किया ‘नियो स्ट्रेच # फ़्रीडम टू मूव’: एक ग्रैंड म्यूज़िकल जिसमें दिखेंगे टाइगर श... छात्र-छात्राओं में विज्ञान के प्रति रुचि जागृत करने हेतु मनी राष्ट्रीय विज्ञान दिवस राबड़ी, मीसा, हेमा यादव के खिलाफ ईडी के पास पुख्ता सबूत, कोई बच नहीं सकता “समान नागरिक संहिता” उत्तराखंड में लागू - अब देश में लागू होने की बारी नगरनौसा हाई स्कूल के मैदान में प्रखंड स्तरीय खेलकूद प्रतियोगिता का हुआ आयोजन पुलिस अधिकारियों व पुलिसकर्मियों को दिलाया पांच‌ प्रण बिहार में समावेशी शिक्षा के तहत दिव्यांग बच्चों को नहीं मिल रहा लाभ : राधिका जिला पदाधिकारी ने रोटी बनाने की मशीन एवं अन्य सामग्री उपलब्ध कराया कटिहार में आरपीएफ ने सुरक्षा सम्मेलन किया आयोजित -आरपीएफ अपराध नियंत्रण में जागरूक करने के प्रयास सफ...

साढ़े तीन वर्ष बाद बाढ़ पीड़ितों को राहत राशि का हुआ भुगतान

कटिहार। वर्ष 2019 के जुलाई महीने आई भयंकर बाढ़ से तबाह हुए  बलरामपुर के लगभग 6963 छूटे हुए बाढ़ पीड़ितों का भुगतान पिछले दिनों जिला प्रशासन द्वारा किया गया। इस संबंध में जानकारी देते हुए जदयू नेता सह सामाजिक कार्यकर्ता रोशन अग्रवाल ने कहा कि बाढ़ के बाद जब बाढ़ पीड़ितों की सूची बनाई जा रही थी तो उस समय कई कारणों से हजारों बाढ़ पीड़ित परिवार का नाम आपदा संपुष्टि पोर्टल   में  नहीं  चढ़ पाया था। और सुधार करके जब तक दोबारा नाम चढ़ाया जाता तब तक कथित रूप से पोर्टल बंद हो गया था। जिसके चलते बारसोई विधानसभा क्षेत्र के 7000 परिवार राहत राशि से वंचित हो गए थे। वह सभी पीड़ित परिवारों के आवेदन को इकट्ठा कर लगातार प्रयास किया गया श्री अग्रवाल ने बताया कि इसको लेकर मैंने मुख्यमंत्री के जनता दरबार में भी कई बार प्रश्न उठाया और जब विभाग से जांच हुई,तो  पाया गया कि जिला पदाधिकारी द्वारा दी गई जानकारी अधूरी है।ज्ञात हो कि जिला पदाधिकारी कटिहार ने कारण प्रस्तुत किया था कि प्रभावित परिवारों का नाम आपदा संपूर्त्ति पोर्टल पर डाटा अपलोड/मोडिफिकेसन की तिथि 30.08.2019 तक निर्धारित रहने एवं उक्त तिथि के उपरांत लिंक डिजेबल हो जाने के परिणामस्वरूप अपलोड नहीं किये जाने के कारण छूटे हुए पीड़ित परिवारों को  राशि का भुगतान नहीं किया जा सका। उस कारण को अधूरा माना गया था पुणः नियमानुसार जांच करने का निर्देश देते हुए कहा कि उक्त प्रखण्ड के छूटे हुए प्रभावित परिवारों के संबंध में जिला पदाधिकारी, कटिहार के द्वारा कोई पूर्व सूचना विभाग को उपलब्ध नहीं करायी गई थी। सम्यक विचारोपरान्त जिला पदाधिकारी, कटिहार को निदेश दिया जाता है कि प्रश्नगत मामले में वे स्वयं पूर्ण जाँच कर वस्तुस्थिति से अवगत होकर अपने मंतव्य के वस्तुस्थिति से अवगत होकर अपने मंतव्य के साथ प्रतिवेदन भेजना सुनिश्चित करेंगे।वहीं जांच ऊपरांत सभी 6963 बाढ़ पीड़ितों को लगभग साढ़े तीन वर्ष बाद राहत राशि का भुगतान कर दिया गया। बता दें कि इससे पूर्व जिला पदाधिकारी द्वारा लापरवाही के आरोप मेंआपदा राहत में शिथिलता बरतने के कारण तत्कालीन अंचलाधिकारी अशोक कुमार सिंह के विरुद्ध प्रपत्र को भी गठित किया गया था। वहीं श्री अग्रवाल ने कहा कि इतने वर्षो बाद राहत राशि मिलने से लोगों में सरकार के प्रति विश्वास बढ़ा है। सभी पीड़ित विभागीय कार्रवाई से काफी खुश है।

Leave A Reply

Your email address will not be published.