रेल दुर्घटना के बाद बिहार सरकार ने न हेल्प डेस्क बनाया, न मंत्री को भेजा : सुशील मोदी
– राज्य के 21 यात्री अब तक लापता, परिजन निराश , सरकार से कोई मदद नहीं
– रेल मंत्री का इस्तीफा मांगने वालों ने पीड़ितों के लिए कुछ नहीं किया
पटना। पूर्व उपमुख्यमंत्री एवं राज्यसभा सदस्य सुशील कुमार मोदी ने कहा कि बालासोर रेल दुर्घटना के बाद से लापता बिहार के 21 लोगों की खोज करने में राज्य सरकार कोई मदद नहीं कर रही है।
मोदी ने कहा कि उडीसा की रेल दुर्घटना पर बिहार में राजनीतिक बयानबाजी तो खूब हुई, लेकिन बालासोर में बिहार सरकार ने न कोई हेल्प डेस्क बनाया, न अपनों की तलाश में वहाँ पहुँचने वाले बिहार के लोगों के लिए कहीं ठहरने और भोजन करने की व्यवस्था की।
उन्होंने कहा कि दुर्घटना में मरे या अब तक लापता लोगों के परिजनों की सहायता तभी अच्छी तरह से होती, जब इसकी मानीटरिंग के लिए सरकार ने किसी वरिष्ठ मंत्री को वहाँ कैम्प कराया होता।
मोदी ने कहा कि लापता लोगों के गरीब परिजन अपने सीमित साधन से बालासोर गए, दर-दर भटके और पैसा खत्म होने पर मायूस होकर लौट आए।
उन्होंने कहा कि किसी शव की पहचान के लिए डीएनए और ब्लड टेस्ट की जरूरत पड़ती है। इसके लिए भी वहां बिहार सरकार ने वहाँ कोई व्यवस्था नहीं की ।
मोदी ने कहा कि राजनीतिक विरोध को परे रख कर जब ममता बनर्जी बालासोर पहुँचीं और बंगाल सरकार की तरफ से राहत कार्यों में 40 बसें लगायी गई, तब नीतीश कुमार बालासोर क्यों नहीं गए?
उन्होंने कहा कि जो लोग रेल मंत्री का इस्तीफा मांग रहे थे, उन्होंने पीड़ित परिवारों की क्या मदद की?